बैंकों के माध्यम से जीविका समूह को बीमा सुरक्षा चक्र से जोड़ने की कार्यनीति
बैंकों के माध्यम से जीविका समूह को बीमा सुरक्षा चक्र से जोड़ने की कार्यनीति
बिहार ग्रामीण जीविकोपार्जन समिति (जीविका ) के द्वारा राज्य स्तर पर ग्रामीण रोजगार के संसाधन को बढ़ाने हेतु सामुदायिक संगठनों (स्वंय सहायता समूह ,ग्राम संगठन तथा संकुल स्तरीय संघ आदि ) का गठन किया गया है | साथ ही साथ सभी स्तरों के सामुदायिक संगठनों का क्षमतावर्धन कर उन्हें विभिन्न तरह के रोजगार के आयामों से जोड़ने की रणनीति पर कार्य किया जा रहा है |रोजगार के संसाधनों को बढ़ाने हेतु परियोजना एवं विभिन्न वित्तीय संस्थाओं के माध्यम से पूंजी उपलब्ध करवायी जाती है |ऐसी परिस्थिति में यह महत्वपूर्ण हो जाता है कि परिवार की निरंतर खुशहाली के लिए हर तरह के जोखिम को क्रमश: कम किया जाए | विगत कुछ वर्षों में जीविका परियोजना के द्वारा महिलाओं को निरंतर बीमा के सुरक्षा चक्र से जोड़ा गया है | इसका प्रभाव सामुदाय के मानस पटल पर अच्छा पड़ा है ,क्युकि विपति के घड़ी में बीमा सहायक साबित हो रही है | महिलाएं बीमा के महत्त्व को समझते हुए इसके दायरे को विस्तृत करने हेतु निरंतर आगे बढ़ रही है |
वित्तीय वर्ष 2016-17 में लगभग 8.6 लाख महिलाएं प्रीमियम की राशी एकत्रित करके बीमा के सुरक्षा चक्र के दायरे में आ गयी थी | "यह कार्य आम आदमी बीमा योजना " के अंतर्गत किया जा रहा था | 25 जुलाई 2017 के तत्काल प्रभाव से "आम आदमी बीमा योजना " को बंद कर दिया गया था तथा इसके बदले नई अभिसारित "प्रधानमंत्री जीवन ज्योति योजना " एवं "प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना " की शुरुआत की गयी | इस नई अभिसारित "प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना "एवं "प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना " के अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2018 -19 एवं 2019-20 में क्रमश: 12.86 लाख महिलाएं प्रीमियम की राशि एकत्रित करके बीमा के सुरक्षा चक्र के दायरे में आ गयी थी | यह कार्य भारतीय जीवन बीमा निगम के साथ मिलकर किया गया था | वर्णित अभिसरित "प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना " एवं "प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना "
दिनांक 01/06 /2020 के तत्काल प्रभाव से बंद कर दी गयी है | हालाँकि सम्बंधित योजनायें बैंकों के माध्यम से अलग-अलग यथावत चालू है ,अर्थात समूह के सदस्यों को बीमा के दायरे में लाने के लिए बैंकों के माध्यम से अब बीमा करवाना होगा | यहाँ यह भी समझना आवश्यक है कि बैंकों के माध्यम से किया जाने वाला बीमा अभिसरित नहीं है अर्थात समूह के महिलाओं को अपना बीमा "प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना एवं "प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना "के अंतर्गत अलग-अलग करवाना होगा |अत: यह महत्वपूर्ण रहेगा की सदस्यों को दोनों योजनाओं की मुख्य बातें स्पष्ट रूप से समझा दिया जाए |
प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना (PMJJBY ) की मुख्य विशेषताएँ
(a) प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना की अवधि प्रतिवर्ष 1 जून से 31 मई तक होती है | अर्थात इस वित्तीय वर्ष में बीमा की अवधि 1 जून से 31 मई 2023 तक होगी | आने वाले वित्तीय वर्षों में भी बीमा की अवधि 1 जून से लेकर 31 मई तक होगी जब तक इसमें कोई बदलाव न किया जाए |
(b) स्वयं सहायता समूह के ऐसे सदस्य जिनकी आयु 18 से 50 वर्ष के बीच है ,उनको उपर्युक्त योजना से जोड़ा जा सकता है | यदि कोई सदस्य 18 से 50 वर्ष के बीच इस योजना से जुड़ जाता है तो वह इस योजना के अंतर्गत 55 वर्ष की आयु तक ससमय प्रीमियम का भुगतान कर जुड़ सकता है |
(c ) समूह के सदस्यों से यह अपेक्षा है कि अपने आलावा परिवार के अन्य सदस्यों का भी बीमा बैंकों के माध्यम से करवाएं ताकि आजीविका सम्बंधित जोखिम कम की जा सके |
(d ) इस योजना के अंतर्गत प्रीमियम की कुल राशि 330 /- प्रति व्यक्ति प्रति वर्ष निर्धारित है | यह राशि सदस्य द्वारा देय होगी | प्रीमियम की राशि प्रतिवर्ष सदस्य के बचत खाते से काटी जाएगी |अत: प्रत्येक वर्ष नवीनीकरण हेतु बैंक खाते में कम से कम प्रीमियम के बराबर राशि का होना जरुरी है |
(e ) बीमा से जुड़ाव के लिए सदस्य का बचत खाता होना जरुरी है तथा यह बचत खाता आधार से जुड़ा होना चाहिए |सदस्य बीमा के पूर्व इस बात को सुनिश्चित कर लें की उनका बचत खाता आधार से जुड़ा हुआ है |
(f ) उपर्युक्त बीमा योजना के अंतर्गत स्वभाविक मृत्यु की स्थिति में बीमित व्यक्ति के नॉमनी को दो लाख रुपये सम्बंधित बैंक के शाखा द्वारा देय होगा |
(g) इस बात का ध्यान रखना जरुरी है कि किसी व्यक्ति की मृत्यु में साजिश या रंजिश होने की स्थिति में बीमा की राशि देय नहीं होगी |साथ ही साथ आत्महत्या में मामले में भी मृत्यु दावे की राशि देय नहीं होगी |
(h ) प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना के अंतर्गत एक विशेष प्रावधान है , जिसे विशेष रूप से समझना जरुरी है |इस योजना के अंतर्गत यह प्रावधान रखा गया है कि अगर बीमा होने के 45 दिनों के भीतर बीमित की मृत्यु हो जाती है तो दावे की राशि नॉमिनी को देय नहीं होगी | इस 45 दिनों के अवधि को lien period अथवा ग्रहण अवधि कहा जाता है | lien period के 45 दिन की वर्णित अवधी में कोई बदलाव आएगा तो इसकी सूचना सभी स्तर पर प्रेषित की जाएगी |साथ ही सदस्यों से अपेक्षित है कि lien period की अवधि की जानकारी सम्बंधित शाखा प्रबंधक से जरुर ले लें एवं निरंतर रूप से इसकी जानकारी लेते रहे |
(i ) उपर्युक्त योजना के अंतर्गत नियमानुसार 45 दिनों की ग्रहण अवधि रख गयी है |अर्थात बीमा होने की तारीख से 45 दिनों के अन्दर स्वाभाविक मृत्यु होने पर दावे की राशि देय नहीं होती है |उदाहरण स्वरूप अगर कोई व्यक्ति 1 जून 2022 को बीमित होता है तो अगले 45 दिनों में स्वाभाविक मृत्यु होने पर कोई रकम देय नहीं होगी |
अर्थात सम्बंधित व्यक्ति की मृत्यु अगर 16 जुलाई 2022 से पहले होती है तो कोई भी रकम उनके नॉमिनी को देय नहीं होगी |यह समझना जरुरी है कि जब बीमा का नवीनीकरण ससमय प्रीमियम की राशि का भुगतान करके किया जायेगा तो आने वाले वर्षों में ग्रहण अवधि का प्रावधान लागु नहीं होगा | इस मामले के व्यावहारिक सन्दर्भ को समझना अतिमहत्वपूर्ण है | इसकी पूर्ण जिम्मेदारी प्रखंड परियोजना प्रबंधक एवं प्रखंड स्तर पर कार्य कर रहे सभी कर्मियों की होगी | साथ ही सदस्यों द्वारा सम्बंधित बैंक शाखा के अधिकारी से भी इस बाबत जानकारी रखना अति महत्वपूर्ण है |
(j ) प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना के अंतर्गत जुड़ने के लिए आधार संख्या तथा बचत खाता संख्या का होना अनिवार्य है | आधार संख्या तथा बचत खाता के साथ ही साथ मोबाइल संख्या की जानकारी उपलब्ध करा दें ताकि बैंक से किसी प्रकार की जानकारी उपलब्ध हो सके |यह स्पष्ट किया जाता है कि बीमा करवाने हेतु मोबाइल संख्या देना अनिवार्य नहीं है | यह सुलभता का सूचक है \
(k ) बीमा करवाने हेतु बैंक को सहमति सह घोषणा फॉर्म भर कर देना होता है |
प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना (PMSBY ) की मुख्य विशेषताएँ
(a ) प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना प्रतिवर्ष 1 जून से 31 मई तक वैध होती है | अर्थात इस वित्तीय वर्ष में बीमा की अवधि 1 जून 2022 से 31 मई 2023 तक होगी | आने वाले वित्तीय वर्षों में भी बीमा की अवधि 1 जून से ले कर 31 मई तक होगी जब तक इसमें कोई बदलाव न किया जाए |
(b ) स्वयं सहायता समूह के ऐसे सदस्य जिनकी आयु 18 से 70 वर्ष के बीच है ,उनको उपर्युक्त योजना से जोड़ा जा सकता है |
(c ) समूह के सदस्यों से यह अपेक्षा है कि अपने अलावा परिवार के अन्य सदस्यों का भी बीमा बैंकों के माध्यम से करवाएं ताकि आजीविका सम्बंधित जोखिम कम की जा सके |
(d ) इस योजना के अंतर्गत प्रीमियम की कुल राशि 12/- प्रति व्यक्ति प्रति वर्ष निर्धारित है | यह राशि सदस्य द्वारा देय होगी | प्रीमियम की राशि प्रतिवर्ष सदस्य के बचत खाते से काटी जाएगी |
(e ) बीमा से जुड़ाव के लिए सदस्य का बचत खाता होना जरुरी है तथा यह बचत खाता आधार से जुड़ा होना चाहिए | प्रत्येक वर्ष नवीनीकरण हेतु बैंक खाते में प्रीमियम के बराबर राशि का होना जरुरी है |
(f ) उपर्युक्त बीमा योजना के अंतर्गत दुर्घटना से मृत्यु की स्थिति मर बीमित व्यक्ति के नॉमिनी को दो लाख रूपये देय होगा | इस योजना के अंतर्गत शारीरिक अपंगता की स्थिति में भी बीमा की राशि देय होती है | पूर्ण अपंगता की स्थिति में दो लाख रुपये तथा आंशिक अपंगता की स्थिति में एक लाख रुपये की राशि सम्बंधित बैंक शाखा द्वारा देय होती है |
(g ) इस बात का ध्यान रखना जरुरी है कि किसी व्यक्ति की मृत्यु में साजिश या रंजिश होने कि स्थिति में बीमा की राशि देय नहीं होगी | साथ ही साथ आत्महत्या के मामले में भी मृत्यु दावे की राशि देय नहीं होगी |
(h ) प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के अंतर्गत जुड़ने के लिए आधार संख्या तथा बचत खाता संख्या का होना अनिवार्य है | आधार संख्या तथा बचत खाता के साथ ही साथ मोबाइल संख्या की जानकारी उपलब्ध करा दें ताकि बैंक से किसी प्रकार की जानकारी उपलब्ध हो सके | यह स्पष्ट किया जाता है कि बीमा करवाने हेतु मोबाइल संख्या देना अनिवार्य नहीं है | यह सुलभता का सूचक है |
(i ) अगर सदस्य की उम्र 70 साल या उससे अधिक हो गयी है तो इस योजना का लाभ नहीं लिया जा सकता है |
नोट - यह स्पष्ट करना उचित होगा कि कोई भी सदस्य केवल एक जगह से ही उपर्युक्त योजनाओं का लाभ ले सकता है | अर्थात अगर किसी समूह के सदस्य का बचत खाता दो बैंकों के साथ है तो ऐसे स्थिति में वो किसी एक बैंक से ही अपना बीमा करवाएं |किसी अप्रिय घटना की स्थिति में बीमा का लाभ किसी एक जगह से ही मिल पाएंगा |ऐसा प्रस्ताव सरकार की तरफ से पूर्व से निर्धारित है | उपर्युक्त वर्णित तथ्यों को विभिन्न स्तर पर चेक किया जाता है ,अत: वर्णित सन्दर्भ को ध्यान में रखे |
बीमा करवाने की प्रक्रिया
(a ) सर्वप्रथम इच्छित सदस्य को अपने घरेलू शाखा से सहमती सह घोषणा फॉर्म लेना होगा | यह उचित होगा कि जब दीदी बैंक जाएँ तो साथ में आधार एवं बचत खाते की प्रति ले कर जाएँ |
(b ) सहमती पत्र भरने के दौरान अथवा बीमा करवाते समय नॉमिनी का चयन अतिमहत्वपूर्ण होता है | बीमा करवाते समय नॉमिनी के रूप में सामान्य:पति का नाम देना चाहिए | अगर पति का नाम उपलब्ध न हो तो ऐसे स्थिति में बालिग़ पुत्र या पुत्री का नाम देना चाहिए | अगर किसी कारणवश नॉमिनी के रूप में 18 साल से कम उम्र के बच्चे का नाम लिखा जाता है ,तो ऐसे स्थिति में अभिभावक का नाम लिखना अनिवार्य् है ,अन्यथा दावे के निपटारे के समय समस्या हो सकती है |साथ ही साथ सम्बंधित व्यक्तियों का आधार कार्ड एवं बैंक खाता में प्रविष्ट नाम का मेल करवाना भी सुनिश्चित करें |
( c ) सहमती पत्र भरने के उपरांत संलग्नक आधार एवं बचत खाते की प्रति लगा दें |
(d ) यह भी सुनिश्चित कर लें कि खाते में 330 रुपये की राशि प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना (PMJJBY ) हेतु तथा 12 रुपये की राशि प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना (PMSBY ) हेतु बचत खाते में उपलब्ध है | बचत खाते में शेष न होने की स्थिति में कम से कम कुल 342 रुपये (330 +12 ) जमा कर दें | हालाँकि यह उचित रहेगा की खाते में कुछ अधिक राशि जमा हो |
(e ) खाते से उपरोक्त राशि का सम्बन्धित बीमा मद में कट जाना ही बीमा होने का प्रमाण है |बीमा करवाने के उपरांत बीमित को सम्बंधित शाखा से बीमा प्रमाण पत्र प्राप्त कर लेना चाहिए |
प्रखंड परियोजना ईकाई स्तर पर तैयारी
यह उचित रहेगाकि बीमा कि तैयारी प्रखंड स्तर पर बैंकों से संवाद स्थापित करके किया जाए और एक ऐसा प्रक्रिया अपनाई जाए जिससे महिलाओं तथा बैंकों दोनों के साथ समन्वय स्थापित हो सके |बीमा करवाने हेतु नामांकन फॉर्म की उपलब्धता सुनिश्चित करना अति आवश्यक है ,अत: प्रत्येक प्रखंड परियोजना क्रियान्वयन इकाई को नामांकन फॉर्म के प्रिंट अथवा फोटोकॉपी हेतु 20,000 रुपये का अतिरिक्त बजट प्रदान किया जाता है |यह बजट प्रखंड स्तर पर उपलब्ध प्रिंटिंग मद के बजट के अतिरिक्त है | सभी प्रखंड इकाइयों को यह निर्देशित है कि बीमा से सम्बंधित जो भी सामग्री की प्रिंटिंग / फोटोकॉपी होती है इसकी प्रविष्टि स्टॉक रजिस्टर में दर्ज करना सुनिश्चित करेंगे |सम्बंधित सामग्री की प्रिंटिंग /फोटोकॉपी प्रखंड अथवा जिला स्तर पर सुलभता अनुसार सुनिश्चित की जा सकती है | साथ ही साथ यह उचित होगा कि बैंकों से अधिक से अधिक नामांकन फॉर्म लेने की कोशिश कि जाए एवं इसका सही उपयोग सुनिश्चित किया जाए |
बीमा हेतु समूह से अग्रिम का प्रावधान
प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना एवं प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के अंतर्गत बीमा करवाने हेतु समूह से सदस्यों को 350 रुपये का ब्याज रहित ऋण दिया जा सकता है |इस ऋण की वापसी 10 से 12 बराबर मासिक किश्तों में करवायी जा सकती है |इस ऋण के ऊपर किसी प्रकार का ब्याज देय नहीं होगा | यह प्रावधान ग्रामीण विकास मंत्रालय के पत्रांक दिनांक 23 /06 /2021 के आलोक में रखा गया है |जिसकी प्रति कार्यालय आदेश के साथ अनुलग्रक -1 के रूप में संलग्र की जा रही है |
सामुदायिक स्तर पर किया जाने वाला बीमा वृहद पैमाने पर सार्वभौमिक कवरेज की ओर बढ़ रहा है ,अत: यह उचित होगा की ऐसे परिवारों के सदस्यों का भी मोबिलाइजेशन हेतु साथ लिया जाए जिनके परिवार में मृत्यु दावे की राशि का भुगतान हुआ है | ऐसे परिवारो का अनुभव समूह कि जैसी महिलाएं जो अभी तक बीमा के सुरक्षा चक्र में नहीं आई है लाभदायक एवं प्रेरणादायक भी होगी | यह समूह के महिलाओं के बीच बीमा के दायरे को और बढ़ाने में मददगार भी साबित होगा | यह उचित होगा कि ऐसे परिवार के सदस्यों की सेवा साधन सेवी के तौर पर ली जा सकती है |अत:प्रत्येक प्रखंडों के द्वारा ऐसे परिवार के सदस्यों की सेवा 01 सितम्बर 2022 से लेकर 31 मार्च 2023 के बीच 30 दिनों के लिए ली जा सकती है |यह अपेक्षित है की सम्बंधित परिवार के सदस्य एक दिन में कम से कम तीन गाँव का भ्रमण करते हुए अपने अनुभवों को साझा करेंगे |यह उचित रहेगा की क्षेत्र के भ्रमण के पूर्व प्रखंड क्रियान्वयन स्तर पर इसकी पूर्ण कार्य योजना जैसे -सम्बंधित क्षेत्र का चयन वहां के सामुदायिक संगठन से समन्वयन ,बैठक का आयोजन आदि -आदि बना ली जाए | इस कार्य हेतु सम्बंधित साधन सेवी को 200 /- प्रति दिन परियोजना मद से भुगतान की जा सकती है |यह वित्तीय वर्ष 2021 -22 तक ही मान्य होगी |
मृत्यु दावों का निपटारा
बीमा के कार्यक्षेत्र में दावों का निपटारा उतना ही महत्त्व रखता है जितना की बीमा करवाना |प्रखंड क्रियान्वयन इकाई एवं सामुदायिक संगठन की मूल जिम्मेदारी बनती है कि शोक संतृप्त परिवार को जल्द से जल्द बीमा की राशि दिलवाने का प्रयास करें | बैंकों से किये गए बीमा में दावों के निपटारे हेतु बैंक ही नोडल संस्था है | ऐसे में यह महत्वपूर्ण है की प्रखंड स्तर के कर्मी एवं सामुदायिक संगठन दावे के निपटारे की प्रक्रिया को समझ लें |
प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना के अंतर्गत मृत्यु दावे के निपटारे की प्रक्रिया
(a) बीमित व्यक्ति की मृत्यु होने पर सर्वप्रथम सम्बंधित बैंक शाखा को सूचित करना होगा | मृत्यु की सूचना देने का कार्य परिवार के व्यक्तियों द्वारा करना अतिआवश्यक होगा | मृत्यु के 5 दिनों के अन्दर सामान्यत: यह सूचना सम्बंधित बैंक शाखा को उपलब्ध कराना उचित होगा | हालाँकि मृत्यु की सूचना जितनी जल्दी हो सके ,बैंक शाखा तक उपलब्ध करवाना जरुरी है | शाखा प्रबंधक को सूचना देने हेतु आवेदन पत्र का प्रारूप इस कार्यालय आदेश के साथ अनुलग्रक -2 के रूप में संलग्र है |
(b ) यह महत्वपूर्ण होगा कि बैंक के साथ -साथ ग्राम संगठन तथा संकुल संघ को भी इसकी सूचना प्रदान कर दी जाए ताकि दावे के निपटारे में सम्बंधित परिवार को सहयोग प्राप्त हो सके |
(c ) कम्पुटरीकृत मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाना |
(d ) सम्बंधित बैंक शाखा से दावा प्रपत्र प्राप्त कर लें |
(e ) सामुदायिक संगठक तथा परियोजना कर्मी के सहयोग से दावा प्रपत्र भरना |
(f ) स्वाभाविक मृत्यु की स्थिति में दावा प्रपत्र के साथ मृत्यु प्रमाण पत्र ,बीमित महिला के पासबुक एवं आधार कार्ड की प्रति ,नॉमिनी के आधार कार्ड की प्रति ,नॉमिनी के पासबुक की प्रति( ध्यान रहे कि नॉमिनी का बचत खाता आधार युक्त अर्थात आधार खाते से जुड़ा होना चाहिए ,जनधन खाता या पेमेंट बैंक के खाते में दो लाख की राशि का हस्तानान्तरण नहीं हो पाता है ) संलग्र करना आवश्यक है दावे के निपटारे हेतु उपरोक्त दस्तावेज बैंकों तथा बीमा कंपनियों द्वारा सामान्य रूप से मांगे जाते है ,बीमा कंपनी जरुरत के अनुसार अन्य दस्तावेजों की जानकारी अनिवार्य रूप से दावा प्रपत्र भरने के पूर्व सम्बंधित बैंक शाखा से ले लेनी चाहिए ताकि भविष्य में दावे के निपटारे में कोई समस्या नहीं हो |
(g ) दावा प्रपत्र को सम्बंधित बैंक शाखा में मृत्यु के उपरांत 30 दिन के अन्दर जमा करना सुनिश्चित करें तथा इसकी पावती भी प्राप्त कर लें |
(h ) दावे की राशि नॉमिनी के बैंक खाते पर प्राप्त होती है |राशि प्राप्त होने के उपरांत नॉमिनी के द्वारा प्रखंड क्रियान्वयन इकाई /ग्राम संगठन /संकुल संघ में इसकी सूचना साझा करने से सभी इकाई एकजुट हो कर कार्य कर सकते है | प्रखंड क्रियान्वयन इकाई सभी मृत्यु दावों का विवरण एक रजिस्टर में ससमय अधतन करना होगा |बीमा दावा सह निपटारा रजिस्टर का प्रारूप इस कार्यालय आदेश के साथ अनुलग्रक -3 के रूप में संलग्र किया जा रहा है |
प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के अंतर्गत दावे के निपटारे की प्रक्रिया
प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के अंतर्गत निम्न दो स्थितियों में बीमा के दावों का भुगतान किया जाता है
1. दुर्घटना मृत्यु - अगर बीमित सदस्य की किसी दुर्घटना के कारण मृत्यु होती है तो ऐसी स्थिति में बीमित के नॉमिनी को दो लाख देय है | दुर्घटना से मृत्यु होने पर दावो के निपटारे हेतु नॉमिनी द्वारा निम्र प्रक्रियाओं का पालन करना होगा |
(a ) बीमित व्यक्ति की मृत्यु होने पर सर्वप्रथम सम्बंधित बैंक शाखा को सूचित करना होगा | यह कार्य परिवार के व्यक्तियों द्वारा करना अतिआवश्यक होगा | हालाँकि मृत्यु की सूचना जितनी जल्दी हो सके ,बैंक शाखा तक उपलब्ध करवाना जरुरी है | शाखा प्रबंधक को सूचना देने हेतु आवेदन पत्र का प्रारूप इस कार्यालय आदेश के साथ अनुलग्रक -2 के रूप में संलग्र है |
(b)दुर्घटना से सम्बंधित FIR दर्ज करवाना एवं इसकी नक़ल प्रति न्यायलय से प्राप्त करना |
(c ) बीमित व्यक्ति की मृत्यु होने पर सम्बंधित बैंक शाखा ,ग्राम संगठन ,संकुल संघ तथा प्रखंड परियोजना इकाई को सूचित करना होगा |
(d ) पोस्ट -मोर्टेम रिपोर्ट की नक़ल प्रति न्यायलय से प्राप्त करना |
(e ) कंप्यूटरीकृत मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाना |
(f ) अंतिम पुलिस रिपोर्ट की नक़ल प्रति न्यायलय से प्राप्त करना |
(g ) सम्बंधित बैंक शाखा से दावा प्रपत्र प्राप्त करना |
(h ) सामुदायिक संगठक तथा परियोजना कर्मी के सहयोग से दावा प्रपत्र भरना |
(i ) दुर्घटना मृत्यु की स्थिति में दावा प्रपत्र के साथ FIR की नक़ल प्रति ,पोस्ट -मोर्टेम रिपोर्ट की नक़ल प्रति अंतिम पुलिस रिपोर्ट की नक़ल प्रति ,कोम्पुटरीकृत मृत्यु प्रमाण पत्र बीमित महिला के पासबुक एवं आधार कार्ड की प्रति नॉमिनी का आधार कार्ड की प्रति ,नॉमिनी के पासबुक की प्रति (ध्यान रहे की नॉमिनी का बचत खाता आधार युक्त अर्थात आधार से जुड़ा होना चाहिए ,जनधन खाता या पेमेंट बैंक के खाते में दो लाख की राशि का हस्तानान्तरण नहीं हो पता है ) | दावे के निपटारे हेतु उपरोक्त दस्तावेज बैंकों तथा बीमा कंपनियों द्वारा सामान्य रूप से मांगे जाते है ,बीमा कंपनी जरुरत के अनुसार अन्य दस्तावेजों की मांग कर सकती है या इनमे कुछ छुट दे सकती है | दावा प्रपत्र के साथ संलग्र किये जाने वाले दस्तावेजों की जानकारी अनिवार्य रूप से दावा प्रपत्र भरने के पूर्व सम्बंधित बैंक शाखा से ले लेनी चाहिए ताकि भविष्य में दावे के निपटारे में कोई समस्या नहीं हो |
(j ) दावा प्रपत्र को सम्बंधित बैंक शाखा में जमा करना एवं उसकी पावती प्राप्त करना |
(k ) दावे की राशि नॉमिनी के बैंक खाते पर प्राप्त होती है |राशि प्राप्त होने के उपरांत नॉमिनी के द्वारा प्रखंत परियोजना क्रियान्वयन इकाई सभी मृत्यु दावों का विवरण एक रजिस्टर में ससमय अधतन करना होगा |जिसका प्रारूप इस कार्यालय आदेश के साथ अनुलग्रक -3 के रूप में संलग्र किया जा रहा है |
2. पूर्ण एवं आंशिक अपंगता
अगर किसी दुर्घटना के कारण बीमित व्यक्ति शारीरिक रूप से विकलांग हो जाता है तो ऐसी स्थिति में प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के अंतर्गत दावा की राशि मांगी जा सकती है |यहाँ यह समझना जरुरी है कि शारीरिक अपंगता दो प्रकार की होती है \
(अ ) पूर्ण अपंगता
(ब ) आंशिक अपंगता
पूर्ण अपंगता - अगर किसी व्यक्ति की किसी दुर्घटना में दो आंख ,दो हाँथ या दो पैर में से कोई भी अंग पूर्ण रूप से क्षतिग्रस्त हो जाता है तो इसे पूर्ण अपंगता माना जाता है |उदाहरण स्वरुप अगर किसी व्यक्ति का दुर्भाग्यवश किसी दुर्घटना में दो पैर या फिर एक हाँथ और एक पैर या एक आंख और हाथ क्षतिग्रस्त हो जाता है और भविष्य में यह अंग किसी कार्य योग्य नहीं रह जाते तो या स्थिति पूर्ण अपंगता के श्रेणी में आएंगी |पूर्ण अपंगता की स्थिति में बीमित व्यक्ति को दावा स्वरूप दो लाख रुपये सम्बंधित बैंक शाखा से देय होती है |
आंशिक अपंगता - अगर किसी व्यक्ति का किसी दुर्घटना में दो आंख ,दो हाथ या दो पैर में से कोई एक अंग पूर्ण रूप से क्षतिग्रस्त हो जाए तो इसे आंशिक अपंगता माना जायेगा | उदाहरण स्वरूप अगर किसी व्यक्ति का दुर्भाग्यवश किसी दुर्घटना में एक पैर ,या फिर एक हाथ ,या एक आंख क्षतिग्रस्त हो जाता है और भविष्य में यह अंग किसी कार्य योग्य नहीं रह जाता तो यह स्थिति आंशिक अपंगता के श्रेणी में आएगी |ऐसी स्थिति में दावे की राशि के रूप में एक लाख रुपये सम्बंधित बैंक शाखा से देय होती है |
किसी भी अपंगता (पूर्ण या आंशिक )की स्थिति में दावे की राशि को प्राप्त करने हेतु निम्र प्रक्रिया अपनाई जाती है :
(1 ) बीमित व्यक्ति की मृत्यु होने पर सर्वप्रथम सम्बंधित बैंक शाखा को सूचित करना होगा | यह कार्य परिवार के व्यक्तियों द्वारा करना अतिआवश्यक होगा | मृत्यु के 5 दिनों के अन्दर सामान्यत: यह सूचना सम्बंधित बैंक शाखा को उपलब्ध कराना उचित होगा | हालाँकि मृत्यु की सूचना जितनी जल्दी हो सके ,बैंक शाखा तक उपलब्ध करवाना जरुरी है | शाखा प्रबंधक को सूचना देने हेतु आवेदन पत्र का प्रारूप इस कार्यालय आदेश के साथ अनुलग्रक -2 के रूप में संलग्र है |
(2 ) दुर्घटना से सम्बंधित FIR दर्ज करवाना एवं इसकी नक़ल प्रति न्यायालय से प्राप्त करना |
(3 ) बीमित व्यक्ति की दुर्घटना की सूचना सम्बंधित बैंक शाखा ,ग्राम संगठन ,संकुल संघ तथा प्रखंत परियोजना इकाई को प्रदान करना |
(4 ) अपंगता प्रमाण पत्र बनवाना |
(5 ) अंतिम पुलिस रिपोर्ट की नक़ल प्रति न्यायालय से प्राप्त करना |
(6) सम्बंधित बैंक शाखा से दावा प्रपत्र प्राप्त करना |
(7) सामुदायिक संगठन तथा परियोजना कर्मी के सहयोग से दावा प्रपत्र भरना |
(8 ) दुर्घटना के कारण होने वाली अपंगता की स्थिति में दावा प्रपत्र के साथ FIR की नक़ल प्रति अंतिम पुलिस रिपोर्ट की नक़ल प्रति ,अपंगता प्रमाण पत्र की प्रति ,बीमित महिला के आधार कार्ड एवं पासबुक की प्रति (ध्यान रहे की बीमित का खाता आधार युक्त अर्थात आधार से जुड़ा होना चाहिए ,जनधन खाता या पेमेंट बैंक के खाते में दो लाख की राशि का हस्तानान्तरण नहीं हो पाता है ) संलग्र करना अति आवश्यक है | दावे के निपटारे हेतु उपरोक्त दस्तावेज बैंकों तथा बीमा कंपनियों द्वारा सामान्य रूप से मांगे जाते है ,बीमा कंपनी जरुरत के अनुसार अन्य दस्तावेजों की मांग कर सकती है या इनमे कुछ छुट दे सकती है | दावा प्रपत्र के साथ संलग्र किये जाने वाले दस्तावेजों की जानकारी अनिवार्य रूप से दावा प्रपत्र भरने के पूर्व सम्बंधित बैंक शाखा से ले लेनी चाहिए ताकि भविष्य में दावे के निपटारे में कोई समस्या नहीं हो |
(9 ) दावा प्रपत्र को सम्बंधित बैंक शाखा में जमा करना एवं उसकी पावती प्राप्त करना |
(10 ) दावे की राशि बीमित के बैंक खाते पर प्राप्त होती है | राशि प्राप्त होने के उपरांत बीमित को प्रखंड क्रियान्वयन इकाई /संकुल संघ /ग्राम संगठन में इसकी सूचना प्रदान करनी होगी |
प्रोत्साहन राशि एवं उसका भुगतान
सामुदायिक संगठकों को बीमा करवाने तथा बैंकों से दावों का निपटारा करवाने के उपरांत प्रोत्साहन राशि देय होगी | यहाँ यह समझना महत्वपूर्ण है कि दावों के निपटारे हेतु बैंक शाखाओं में गुणवत्ता दस्तावेज जमा करना अति आवश्यक है | अत: दावा प्रपत्रों की गुणवत्ता को सुनिश्चित करना सामुदायिक संगठकों के साथ-साथ सम्बंधित बैंक मित्र की भी जिम्मेदारी होगी | बैंक मित्रों से यह अपेक्षित है कि सम्बंधित बैंक शाखा में त्रुटी मुक्त दावा प्रपत्र जमा करवाने के साथ-साथ दावों के निष्पादन हेतु शाखा प्रबंधक के साथ समय-समय पर अनुसरण करेंगे | यदि अन्य पूरक दस्तावेजों की जरुरत हुई तो बैंक मित्र ऐसी स्थिति में सामुदायिक संगठक एवं नॉमिनी से समन्वय स्थापित करते हुए इसे शाखा में जमा करवाना सुनिश्चित करवाएंगे |
बैंक मित्र की यह जिम्मेदारी होगी कि नॉमिनी के खाते में दावा राशि का भुगतान होने के उपरांत इसकी सूचना प्रखंड परियोजना प्रबंधक ,सामुदायिक संगठक सम्बंधित संकुल संघ एवं नॉमिनी को प्रदान करेगी | बैंक मित्र को दावो के निपटारे में बैंकों के साथ समन्वय स्थापित करने हेतु प्रोत्साहन राशि देय है | प्रोत्साहन राशि का भुगतान परियोजना मद से किया जायेगा | बैंकों के माध्यम से करवाए जा रहे बीमा एवं दावों के निपटारे में सहयोग हेतु सामुदायिक संगठक तथा बैंक मित्र को देय प्रोत्साहन राशि की गणना निम्न टेबल से की जा सकती है |-
बीमा करवाने हेतु सामुदायिक संगठक को देय प्रोत्साहन राशि के प्रावधान वित्तीय वर्ष 2021 -22 तथा वित्तीय वर्ष 2022 -23 तक के लिए मान्य है |सामुदायिक संगठक बीमा करवाने से सम्बंधित प्रोत्साहन राशि की मांग अनुलग्रक -4 में दिए गए प्रारूप को भर कर सकती है | मृत्यु दावों का निपटारा होने के उपरांत इससे सम्बंधित प्रोत्साहन राशि की मांग सामदायिक संगठक तथा बैंक मित्र के द्वारा अनुलग्रक -5 में दिए गए आवेदन पत्र के प्रारूप में की जा सकती है |
समूह सदस्यों का बीमा गतिविधि के दौरान
परियोजना के निहित उद्देश्यों की पूर्ति हेतु स्वयं सहायता समूह के सदस्यों के आधार कार्ड एवं बैंक खाते k विवरण आवश्यक है | यह उचित रहेगा कि बीमा अभियान के दौरान ही सम्बंधित सदस्यों के आधार एवं बैंक खाते का विवरण भी प्राप्त कर सूचीबद्ध कर लिया जाए |अत: सभी प्रखंड परियोजना प्रबंधकों को यह निर्देशित है कि सम्बंधित समूह सदस्यों के आधार एवं बैंक खाते का विवरण प्राप्त कर लें तथा इसकी प्रविष्टि सम्बंधित मोबाइल एप्लीकेशन के माध्यम से करवाना सुनिश्चित करें | इस कार्य हेतु समूह सदस्यों की सहमती प्राप्त करना आवश्यक है |सदस्यों से सहमती पत्र प्राप्त करने का प्रारूप अनुलग्रक -7 के रूप में इस कार्यालय आदेश के साथ संलग्र है | समूह सदस्यों के बैंक खातों से सम्बंधित अघतन किये गए विवरण के सत्यापन हेतु पासबुक की प्रति को सम्बंधित मोबाइल एप्लीकेशन में अपलोड करना आवश्यक है |उपरोक्त कार्यों हेतु सामुदायिक संगठकों को परियोजना द्वारा राशि देय है ,जिसका विवरण निम्न है |
विवरण -
1 समूह सदस्य का नाम एवम आधार संख्या को मोबाइल एप्लीकेशन में अघतन करना
2 समूह सदस्य के व्यक्तिगत खाते का विवरण (खाता संख्या ,बैंक तथा शाखा का नाम एवं IFS कोड )को मोबाइल एप्लीकेशन में अघतन करना
3.समूह सदस्य के पासबुक के प्रथम पृष्ट (जहाँ खाता संख्या ,सदस्य का नाम ,तथा अन्य विवरण दर्ज है ) की प्रति को मोबाइल एप्लीकेशन में अपलोड करना |
प्रोत्साहन राशि
2 /- प्रति सदस्य
सामुदायिक संगठकों को प्रोत्साहन राशि का भुगतान उपरोक्त विवरण को सम्बंधित मोबाइल एप्लीकेशन में अघतन करने के उपरांत किया जायेगा |प्रोत्साहन राशि का समायोजन हेतु NRLM के तहत capacity building - honorarium /incentive to community professionals बजट शीर्ष के अंतर्गत किया जायेगा | समायोजन हेतु उपरोक्त बजट शीर्ष का उपयोग सभी 534 प्रखंडों के लिए किया जायेगा |
जिन सदस्यों का बीमा प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना या प्रधानमंत्री जीवन सुरक्षा बीमा योजना अथवा दोनों के अंतर्गत हो गया है उन सदस्यों का बीमा से सम्बंधित विवरण में अघतन करना अनिवार्य है | यह कार्य भी सामुदायिक संगठकों द्वारा किया जायेगा तथा प्रखंड परियोजना प्रबंधकों को यह निर्देशित है कि बीमा अभियान के साथ -साथ बीमित सदस्यों का विवरण भी incurance application में अघतन करना सुनिश्चित करेंगे |
यह निर्देशित है कि कार्यालय आदेश की एक प्रति सभी परियोजना कर्मियों ,सभी सामुदायिक संगठक एवं सभी ग्राम संगठन तथा संकुल संघ में उपलब्ध करवायी जाएगी | सभी सम्बंधित व्यक्तियों /संगठनों के द्वारा प्राप्त कार्यालय आदेश की प्रति का विवरण incurance file बना कर रखा जायेगा | इसमें की गयी कोताही अनुशासनात्मक कार्यवाही का कारण बन सकती है | इस हेतु सभी प्रखंड परियोजना इकाई को 5000 रुपये की राशि सम्बंधित आदेश की प्रति ग्राम संगठन एवं संकुल संघ में उपलब्ध करवाने हेतु उपयोग में लाने का निर्देश दिया जाता है | इसका भी समायोजन निर्धारित बजट के आलावा होगा |इसका उपयोग प्रखंड स्तर /जिला स्तर के माध्यम से किया जा सकता है |सभी संकुल संघ तथा ग्राम संगठनों में इस कार्यालय आदेश पर विस्तृत चर्चा अनिवार्य है |
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